कर्मचारियों की पुरानी पेंशन /प्रथम नियुक्ति/क्रमोन्नति/लंबित मांगो को शीघ्र निपटाए सरकार -श्री पुरोहित
जावरा नि. प्र। सरकार पुरानी पेंशन/ प्रथम नियुक्ति/क्रमोन्नति/समय मान वेतनमान में उलझ रहा शिक्षा विभाग
प्रदेश का शिक्षा विभाग पिछले कई वर्षों से शिक्षकों की पदोन्नति/क्रमोन्नति/समय मान वेतनमान के संबंध में निर्णय नहीं ले पा रहा है | समय समय पर कई आदेश जारी हुए लेकिन स्पष्टता नहीं होने के कारण उनका क्रियान्वयन नहीं हो पा रहा है ।
उक्त विचार म.प्र राज्य कर्मचारी संघ जावरा के तहसील अध्यक्ष श्री परीक्षित पुरोहित ने कर्मचारियों की बैठक में कहे। श्री पुरोहित ने कहा कि जो वरिष्ठता सूचियाँ भी जारी हो रही हैं उनमें भी कई विसंगतियां हैं | शिक्षकर्मी के पद पर भर्ती हुए शिक्षकों की भी प्रथम नियुक्ति को लेकर कई प्रकार की शंकाये शिक्षकों के मन में हैं | कई बार नये पद पर संविलियन करने के कारण हर बार नियुक्ति दिनांक संविलियन की दर्शाई गई है | सबसे पहले शिक्षा कर्मी से अध्यापक संवर्ग बना फिर अध्यापक संवर्ग को शिक्षक संवर्ग में परिवर्तित किया गया | हर समय नियुक्ति दिनांक परिवर्तित की गई | शिक्षा कर्मी के पद पर नियुक्त किये गए शिक्षकों की सेवा की गणना कहाँ से करना है अब तक यह स्पष्ट नहीं है | जब तक प्रथम नियुक्ति को कब से माना जा रहा है यह स्पष्ट नहीं होगा तब तक पदोन्नति/क्रमोन्नति/समय मान वेतनमान आदि का मिलना संभव नहीं है |
श्री पुरोहित ने बताया कि शासन को चाहिए कि इसके बारे में अतिशीघ्र निर्णय ले क्योंकि हमारी कईं साथी एक ही पद पर रह कर सेवा निर्वृत हो चुके हैं | शिक्षा कर्मी/संविदा कर्मी की प्रथम नियुक्ति दिनांक वहीं से मानी जाए जिस पद पर उसकी प्रथम नियुक्ति हुई थी | जो भी सूची जारी की जाए उसकी एक प्रति संकुल पर भेजी जाए एवं उस पर दर्ज व्यक्तिगत जानकारी पर शिक्षकों की सहमति ली जाए ताकि कोई त्रुटि होने पर उसमें संशोधन किया जा सके | इसके अतिरिक्त जब भी कोई वेतनमान लागू होता है उसका निर्धारण किया जाता है तो उसकी एक कापी कर्मचारी को देने का प्रावधान है लेकिन कर्मचारी को इसकी प्रति नहीं दी जाती है | म. प्र. राज्य कर्मचारी संघ ये मांग करता है कि अभी तक जितने भी वेतन निर्धारण/वेतन वृद्धि की गई है उसकी एक प्रति कर्मचारी को उपलब्ध कराई जाए जिससे उसको मालूम हो कि उसका वेतन निर्धारण किस प्रकार किया गया है | संघ कर्मचारी हित में पुरानी पेंशन योजना को लागू करने की मांग भी शासन से बार बार करता आया है | कर्मचारी प्रदेश और देश के विकास में महत्वपूर्ण योगदान देता आया है | अत: शासन को चाहिए कि वह कर्मचारीयों की सभी मांगों पर सकारात्मक रूख अपनाते हुए उचित निर्णय ले |
(मध्य प्रदेश स्टेट ब्यूरो चीफ- प्रकाश बारोड़ की रिपोर्ट)